पॉलिटिकल लव: प्यार में क्या सिर्फ ओवरटाइम होता है?

तुम क्या करने वाली हो?
मैं प्यार में कानून लाने वाली हूँ,
देखो, कानून ऐसा लाना जो दोनों के लिए सही हो।
अरे, तुम चिंता मत करो यूपी वाला हाल नहीं होगा।

तुम ना प्यार में बड़े घोटाले करने लगे हो।
हां, क्योंकि सुना है घोटाले वालों को सज़ा नहीं हो रही आजकल,
लगता है तुम चारा घोटाला भूल रहे हो।

पता है मेरे कई लोग आदर्श हैं,
देखो ज्यादा आदर्श मत बनाओ नहीं तो घोटाला हो जाएगा।
घोटाला हो भी जाये तो क्या मैं सभी आरोपों से बरी हो जाऊंगी।
लगता है तुम्हें न्यायपालिका पर पूरा भरोसा है!
सही पकड़े हैं।

तुम मेरे लिए क्या कर सकते हो?
मैं तुम्हारे साथ बहुत आगे तक जा सकता हूँ।
देखो ज्यादा आगे मत जाना पता चले दीवार के पार कर जाओ।
अरे नहीं बाबा हम मेट्रो की तरह उतावले नहीं हैं।

तुम मेरे घर क्यों नहीं आते?
अरे डरता हूं, कहीं तुम्हारे घर आया तो वापस न आ पाऊँ,
अरे मेरा घर है नोएडा नहीं, और तुम्हारे दिल वाली सरकार कभी नहीं जाने वाली,
हां जब बाबा नोएडा जा सकते है तो हम तुम्हारे घर भी आ सकते हैं।
तुम प्यार में कोई स्कीम क्यों नहीं लाती?
अरे हमारा प्यार है कोई रेलवे विभाग नहीं,
अरे तो क्या हुआ प्यार में डिस्काउंट नहीं होता क्या?
नहीं प्यार में बस ओवरटाइम होता है।

तुम मेरी बहुत आलोचना करते हो,
अरे बाबा जब कुछ गलत होगा तो आलोचना तो बनती है ना।
सही है एक दिन तुम भी कमल वाले स्वामी बन जाना।
अरे क्यों तुम भी नोटबंदी जैसा कोई कदम उठाने वाली हो?

तुम मुझे कुछ सरप्राइज क्यों नहीं देते?
तुम्हारे एकाउंट में भी 1 लाख रुपए डाल दें क्या?
तुम तो नहीं डाल पाओगे मुझे बिहार ही जाना पड़ेगा।
अरे सुनो हमारा भी टिकट करवा लेना।

अच्छा तुम मेरे सैंटा बनोगे तो क्या लाओगे?
मैं तुम्हारे लिए पॉलिटकल लव लाऊंगा।
अच्छा तुम्हारी सवारी क्या होगी?
अरे वही अपना लोकल डिब्बा।